छिन्दवाड़ा यातायात पुलिस को मिला इंटरसेप्टर लैब युक्त वाहन , सड़क पर वाहनों की स्पीड चेक कर अब तक काटे 110 से ज्यादा वाहनों के चालान
मुशिकल है पुलिस की नजर से बच निकलना

♦छिन्दवाड़ा मध्यप्रदेश –
पुलिस मुख्यालय भोपाल ने छिन्दवाड़ा यातायात पुलिस को हाईटेक लैब से सुसज्जित ” इंटरसेप्टर” वाहन दिया है। इस वाहन के माध्यम से यातायात पुलिस के कार्य आसान हो गए हैं और कार्यवाही में भी तेजी आई है। वाहन के माध्यम से तेज गति वाहनों को पकड़ना और चालान करना आसान हो गया है। अब तक इस वाहन की चेकिंग के माध्यम से 110 कार चालको के चालान काटे जा चुके हैं जो शहर की सड़कों पर 40 क्या 80 – 100 की स्पीड से कार दौड़ा रहे थे।
यातायात डी एस पी रामेश्वर चौबे ने बताया कि “इंटरसेप्टर” वाहन से केवल वाहन की स्पीड ही नही वाहन चालक को भी चेक किया जा सकता है कि कही उसने शराब तो नही पी रखी है। वाहन सभी साक्ष्य संकलित करने में सक्षम है। इसमे हाईटेक उपकरण फिट है जिसके माध्यम से वाहन की स्पीड टायर ट्रेड, तापमान, आर्द्रता, दिशा, परावर्तकता, चमक, लाइनर पैरामीटर, समय, ऊंचाई और गति को मापने के लिए मिश्रित गेज, स्केल, कंपास, उपकरण और सहायक उपकरण हैं। यह नवीनतम वाहन सांस में अल्कोहल की जांच की भी सुविधा देता है।
इस ” इंटरसेप्टर” वाहन में क्रैशलैब है जिससे वाहन दुर्घटना की भी जांच की जा सकती है। इससे दुर्घटना के सही – सही कारणों और परिणामों को जाना जा सकता है। इंटरसेप्टर की मदद से वाहन चालकों के गलत ड्राइविंग व्यवहार के सटीक प्रमाण बतौर वीडियो एकत्र हो जाते हैं।जो न्यायालय में साक्ष्य के तौर पर मान्य है
“इंटरसेप्टर” अत्याधुनिक यातायात प्रवर्तन प्रौद्योगिकी वाहन है जो केंद्र और राज्य दोनो सरकारों से मान्यता प्राप्त है। वाहनों की गति सहित वीडियो आधारित चलित उल्लंघनों को पकड़ने में पुलिस द्वारा व्यावहारिक उपयोग के लिए इसे डिज़ाइन किया गया है। इसके हाईटेक उपकरण और सॉफ्टवेयर, हार्डवेयर शामिल हैं, जो प्रमाणिक डेटा विश्लेषण तत्काल प्रस्तुत करता है।
डी एस पी रामेश्वर चौबे ने बताया कि इंटरसेप्टर वाहन से छिन्दवाड़ा में कार्रवाई शुरू कर दी गई है । इसमे प्रशिक्षित स्टाफ को लगाया गया है। अब तक शहर के नागपुर , परासिया और सिवनी मार्ग पर वाहन के माध्यम से 110 से ज्यादा कार चालको के चालान काटे जा चुके हैं। कार्रवाई के लिए वाहन से करीब दो सौ मीटर की दूरी पर स्टाफ तैनात किया जाता है ।सड़क पर खड़े इन्टरसेप्टर में लगे उपकरण में चलते वाहन का वीडियो रिकार्डिंग होती है और रिकार्डिंग होते ही तत्काल वाहन की स्पीड सहित अन्य आंकलन स्क्रीन पर होता है । चेक के बाद आपरेटर तत्काल ही व्हाट्सअप पर वाहन का संकलित डेटा स्टाफ को भेज देता है फिर स्टाफ वाहन रोककर संकलित डेटा के आधार पर मय प्रमाण के चालान काटता है। इन्टरसेटर में वाहन की रिकार्डिंग के बाद किसी भी वाहन चालक का बच निकलना मुश्किल है । उन्होंने कहा कि कार्रवाई का उद्देश्य चालान काटना नही है बल्कि सड़क सुरक्षा के मानकों और यातायात नियमो के पालन का है ताकि सड़को पर दुर्घटना ना हो ना ही जान – माल का नुकसान।

डी एस पी का कहना है कि इन्टरसेटर कार्रवाई में मददगार है इसमे प्रमाण सहित कार्रवाई की जाती है छिन्दवाड़ा में सड़क दुर्घटनाओं का ग्राफ काफी ज्यादा है हमारी कोशिश है कि जिले की सड़कों पर दुर्घटना ना हो इसमे वाहनों की स्पीड एक बड़ा फेक्टर है। वाहन चालक सड़क मानक के आधार पर तय स्पीड में ही वाहन चलाए इसको लेकर कार्रवाई का अभियान लगातार जारी रहेगा।