Shivraaj Govt Cabinet Meeting: लाडली बहना योजना में एम पी सरकार ने दी 41 हजार 923 करोड़ के बड़े बजट को मंजूरी
रेत उत्खनन और परिवहन में अब तीन वर्षों के लिए होगा ठेका
♦भोपाल मध्यप्रदेश –
मध्यप्रदेश की शिवराज सरकार ने लाडली बहना योजना में तीन साल वित्तीय वर्ष 2023-24 से वित्तीय वर्ष 2025-26 तक के लिए 41 हजार 923 करोड़ के बजट के प्रस्ताव को अपनी केबिनेट की बैठक में मंगलवार 16 मई को प्रशासकीय मंजूरी दी है।योजना में प्रदेश में 1 करोड़ 33 लाख 25 हजार से ज्यादा महिलाओं को हर माह उनके बैंक खाते में हर माह एक हजार रुपए दिए जाएंगे। योजना का सालाना खर्च 15 हजार करोड़ का है ।योजना की प्रथम किश्त में 10 जून को यह राशि दी जाएगी। लाडली लक्ष्मी ,और कन्यादान के बाद लाडली बहना योजना शिवराज सरकार की महिला सशक्तिकरण को सबसे बड़ी योजना है।
इसके अलावा केबिनेट की बैठक में अनेक महत्वपूर्ण फैसले लिए गए हैं इनमे अनुसूचित जाति के विद्यार्थियों को छात्रवृत्ति के लिए आय सीमा अब 8 लाख रूपये कर दी गई है अब तक यह सीमा 6 लाख रुपया थी। सरकार ने मंदिरों की कृषि भूमियों के प्रबंधन के आदेश का अनुसमर्थन करते हुए फैसला लिया है कि जिन शासन संधारित मंदिरों के पास 10 एकड़ तक कृषि भूमि संलग्न है, उनसे होने वाली आय का उपयोग पुजारी स्वयं के लिये कर सकेंगे। ऐसे शासन संधारित मंदिर, जिनमें 10 एकड़ से अधिक कृषि भूमि संलग्न है, से होने वाली आय का उपयोग पुजारी स्वयं के लिए कर सकेंगे। शेष कृषि भूमियों को जिला कलेक्टर को सूचित करते हुए पारदर्शी प्रक्रिया अपना कर कृषि प्रयोजन के लिये नीलामी कर सकेंगे। नीलामी से प्राप्त होने वाली आय मंदिर के खाते में जमा करायी जायेगी।
प्रदेश में रासायनिक उर्वरकों यूरिया, डीएपी, काम्प्लेक्स एवं पोटाश की उपलब्धता के लिए 10 लाख 80 हजार टन उर्वरकों का अग्रिम भण्डारण 31 मई तक करने के निर्णय के अलावा प्राथमिक कृषि साख सहकारी समितियों के कंप्यूटराईजेशन के लिए 145 करोड़ रूपये की स्वीकृति देकर प्रदेश की 4534 पैक्स का कंप्यूटराईजेशन कराये जाने की स्वीकृति दी गई है।परियोजना में आवश्यक हार्डवेयर का क्रय GeM पोर्टल से केन्द्र सरकार द्वारा जारी GFR 2017 एवं अन्य निर्देश अनुसार किया जाएगा। बैठक में यह भी निर्णय लिया गया है कि बाल सरंक्षण योजना “मिशन वात्सल्य” का सभी जिलों में संचालित किया जाएगा साथ ही मिशन में स्वीकृत 676 संविदा पदों को प्रतिवर्ष 3 प्रतिशत मानदेय वृद्धि के साथ और 394 नियमित पदों को निरन्तर किया जाएगा।
रेत उत्खनन की नीति पर भी केबिनेट ने मध्यप्रदेश रेत खनन, परिवहन, भण्डारण एवं व्यापार नियम-2019 में संशोधन का अनुमोदन किया है ।इसके अनुसार अब प्रदेश के 44 जिलों के रेत समूहों का “ई-निविदा” के स्थान पर “ई-निविदा-सह-नीलामी” प्रक्रिया द्वारा समूहवार ठेके से निर्वर्तन किया जायेगा। ठेके की अवधि, अनुबंध दिनांक से 3 वर्ष (दो अतिरिक्त वर्ष के लिए होंगे। निविदा में सफल एम.डी.ओ. (माईन्स डेवलपर कम ऑपरेटर), कलेक्टर एवं निगम के बीच त्रि-पक्षीय अनुबंध का निष्पादन किया जायेगा। ठेका राशि की देयता त्रैमासिक के स्थान पर मासिक किश्त के रूप में और ठेका राशि में 10 प्रतिशत की वार्षिक वृद्धि प्रति वर्ष जुलाई के स्थान पर ठेका संचालन का 1 वर्ष पूर्ण होने पर की जायेगी।