बिना समिति चल रही मध्यप्रदेश में कृषि उपज मंडिया
चार साल बीते सरकार ने नहीं कराए चुनाव

हाई कोर्ट ने दिया सरकार सहित चुनाव आयोग और मंडी बोर्ड को नोटिस
जबलपुर-
मध्यप्रदेश में कृषि उपज मण्डिया बिना समिति के ही चल रही है सरकार ने नगरीय निकायों और पंचायतो के चुनाव करा लिए है किन्तु मन्डी चुनाव का अता-पता नही है ऐसे में मंंडी का 5 साल का कार्य काल ऐसे ही बीतने को हैं मंंडी में किसान सदस्य चुनते हैं और सदस्य अध्यक्ष-उपाध्यक्ष
मंडी समितियों के चुनाव ना करवाए जाने को लेकर जबलपुर हाई कोर्ट में एक जनहित याचिका दायर की गई थी जूस पर संज्ञान लेते हुए हाईकोर्ट ने राज्य सरकार सहित चुनाव आयोग और मंडी बोर्ड को नोटिस दिया है। हाई कोर्ट ने चार सप्ताह में जवाब पेश करने के आदेश दिए हैं। मध्यप्रदेश में 400 से ज्यादा मंडी समितियों का कार्यकाल बीते 2018 में समाप्त हो चुका है। मंडी का कार्यभार सचिव के भरोसे है औऱ एस डी एम प्रशासक है जब निकाय पंचायत के चुनाव हो चुके हैं तो फिर मंडी समितियों के क्यो नही इसको लेकर जबलपुर हाईकोर्ट में दायर जनहित याचिका में कोर्ट ने अब सरकार सहित आयोग और मंडी बोर्ड से जवाब मांगा है बताया गया कि सरकार सिर्फ साढ़े तीन वर्ष ही कार्यकाल विशेष परिस्थितियों में बढ़ा सकती है किंतु प्रदेश में बिना चुनाव पूरे पांच साल ही बीतने को हैं