पांढुर्ना में कलेक्टर- एस पी की नियुक्ति: अजय देव कलेक्टर – राजेश त्रिपाठी एस पी, कल “सी एम शिवराज सिंह” की सभा
छिन्दवाड़ा कलेक्टर मनोज पुष्प और एस पी विनायक वर्मा "पांढुर्ना" दौरे पर पहुंचे

♦छिन्दवाड़ा मध्यप्रदेश-
मध्यप्रदेश सरकार ने “पांढुर्ना” जिले के गठन के बाद यहां पहले कलेक्टर और एस पी की नियुक्ति कर दी है। उज्जैन जिला पंचायत के सी ई ओ “अजय देव सिंह” पांढुर्ना के पहले कलेक्टर होंगे वही सागर पुलिस रेंज के विशेष शाखा अधिकारी “राजेश त्रिपाठी” को पहला एस पी पदस्थ किया गया है।
दोनों प्रमुख अधिकारी की नियुक्ति के बाद अब “पांढुर्ना” का प्रशासनिक कामकाज शुरू होगा। कलेक्टर कार्यालय पांढुर्ना के कृषि उपज मंडी भवन में बनाया गया है। एस पी कार्यालय पांढुर्ना थाना परिसर में ही होगा।
खास बात यह भी है कि ‘पांढुर्ना”को जिला बनाने की घोषणा कर मात्र एक महीने की समय अवधि में उसे मूर्त रूप दे दिया गया है। पांढुर्ना जिले के “प्रशासनिक” कामकाजों का कलेक्टर -एस पी की नियुक्ति के साथ श्री गणेश होगा। इसके लिए “अल्प” समय के लिए मुख्यमंत्री “शिवराज सिंह” शनिवार 7 अक्टूम्बर को पांढुर्णा आएंगे। वे यहाँ नए कलेक्टर कार्यालय का शुभारंभ करने के साथ ही कृषि उपज मंडी प्रांगण में “जनसभा” भी करेंगे। मुख्यमंन्त्री शिवराज सिंह चौहान के आगमन की तैयारी को लेकर छिन्दवाड़ा कलेक्टर मनोज पुष्प और एस पी विनायक वर्मा पांढुर्ना पहुंचे हैं।
पांढुर्ना प्रदेश का 55 वा जिला है। छिन्दवाड़ा जिले की दो बड़ी और विकसित तहसील पांढुर्ना और सौसर को शामिल के इसे बनाया गया है।। नए पांढुर्ना जिले का क्षेत्रफल करीब 1 लाख 52 हजार 222 हेक्टेयर है। दोनो की पहचान “संतरा” और “कपास” की खेती के लिए विशेष है। पांढुर्ना का “गोटमार मेला” सौसर का ” “जामसांवली हनुमान मंदिर” सबसे ज्यादा विख्य्यात है। यहां “कन्हान” और “जाम” दो बड़ी नदिया है किंतु नदियों पर इतने वर्षो में भी कोई “बांध” ना बनने से पानी ” महाराष्ट्र” की कन्हान नदी में चला जाता है। महाराष्ट्र में कन्हान में बांध भी है और बिजली उत्पादन की यूनिट भी किन्तु सौसर- पांढुर्ना में ही कुछ नही बन पाया। इसके चलते कृषि, सिंचाई और पीने के पानी की समस्या से दोनों तहसील प्रभावित होती है। यहां 56 सौ करोड़ का “कन्हान सिंचाई काम्प्लेक्स प्रोजेक्ट” बनाया गया था जो “कांन्ग्रेस” के भ्र्ष्टाचार की भेंट चढ़ गया है। देखना होगा कि अब नए जिले “पांढुर्ना में “सरकार” विकास के मुद्दों को लेकर क्या रुख रखती है।