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छिन्दवाड़ा का सबसे बड़े बांध है माचागोरा
* देखे बांध की नहरों के हाल.
छिन्दवाड़ा- रबी सीजन में किसानों को सिचाई के लिए पानी उपलब्ध कराने बांध और नहरों की व्यवस्था देखने कलेक्टर शीतला पटले गुरूवार को चौरई तहसील में स्थित माचागोरा बांध पहुँची यहां उन्होंने बांध से छिन्दवाड़ा और सिवनी जिले के गांवो को पानी पहुंचाने बनी नहरों का निरीक्षण किया
कलेक्टर शीतला पटले ने नहरों के अधूरे कार्यो के साथ ही टूटी-फूटी नहरों की मरम्मत का कार्य समय पर पूरा करने के आदेश सिंचाई विभाग के अधिकारियों को दिए हैं उन्होंने कहा कि नहरों की साफ-सफाई का कार्य शत – प्रतिशत पूरा किया जाए ताकि किसानों को समस्या ना हो अनुविभाग चौरई में पेंच व्यपवर्तन परियोजना की बाँयी तट नहर की आर.डी. 19 किलोमीटर और दाँयी तट नहर की आर.डी. 3.किलोमीटर तक .कपूरदा तक का उन्होंने निरीक्षण किया। कलेक्टर शीतला पटले ने जमुनिया माईक्रो इरिगेशन के पम्प हाऊस एवं माचागोरा बाँध स्थल का भी निरीक्षण किया निरीक्षण के दौरान अपर कलेक्टर एवं एसडीएम चौरई छिन्दवाडा ओ. पी. सनोडिया, कार्यपालन यंत्री पेंच व्यपवर्तन बांध जल संसाधन सम्भाग -1 चौरई संतकुमार सिरसाम, अनुविभागीय अधिकारी पेंच व्यपवर्तन दाँयी तट नहर उपसंभाग – 1 चौरई पी. टेकाम, अनुविभागीय अधिकारी पेंच व्यपवर्तन परियोजना मिट्टी बांध उपसंभाग -1 सिगना तहसील चौरई श अभिजीत बेलिया, तहसीलदार चौरई, नायब तहसीलदार चौरई, राजस्व उपयंत्री, राजस्व निरीक्षक और पटवारी उपस्थित थे।
छिन्दवाड़ा और सिवनी दो जिलों के गावो में जाता है पानी..
पेंच परियोजना में माचागोरा बांध से छिन्दवाड़ा और सिवनी दोनो जिलों के 242 गांवो में नहरों से खेतों तक पानी दिया जाता है इसमें छिंदवाड़ा के 108 और सिवनी के 134 गांव शामिल हैं दोनो जिलों के क़रीब 2लाख हेक्टेयर क्षेत्र में सिंचाई के लिए परियोजना में 47 किलोमीटर नहर बनाई गई है शिकायत है कि कुछ गांवो में नहरे बनी नही है और कुछ गांवो में टूटी- फूटी है इस वजह से बांध और नहर दोनो के बावजूद किसानों को रबी सीजन में सिंचाई के लिए पानी नही मिल पाता है सिचाई के अलावा माचागोरा बांध से वाटर सप्लाई के लिए छिन्दवाड़ा भी पानी आता है वही नहर से वंचित गांवो के लिए माइक्रो इरिगेशन प्रोजेक्ट पर अभी कार्य चल रहा जिसमे छिन्दवाड़ा चौरई और अमरवाड़ा के करीब 150 गांवो तक पानी भेजने का लक्ष्य है